Kotputli Borewell Accident: आखिर कब बाहर आएगी चेतना? हर कोशिश फेल...बारिश का खलल, 100 घंटे से भूखी-प्यासी बच्ची
Kotputli Borewell Accident: कोटपूतली में तीन साल की चेतना पिछले 5 दिन से बोरवेल में फंसी है। (Kotputli Borewell Accident) NDRF, SDRF के साथ प्रशासन की टीम मौके पर मौजूद है, मगर बच्ची को अभी तक बाहर नहीं निकाला जा सका है। जिसके चलते अब परिजनों का धैर्य भी जवाब देने लगा है। परिजन प्रशासन पर सवाल उठाने लगे हैं।
रेस्क्यू टीम के प्लान में फिर बदलाव !
कोटपूतली के कीरतपुरा गांव में बोरवेल में गिरी तीन साल की चेतना को बचाने की कोशिशें अभी तक सफल नहीं हो पाई हैं। बोरवेल के समानांतर खुदाई हो चुकी है, रैट माइनर पहुंच गए हैं। गड्ढे से बोरवेल में फंसी चेतना तक पहुंचने के लिए भी खुदाई शुरू हो गई। मगर इस बीच अब रेस्क्यू टीम को फिर से अपना प्लान बदलना पड़ा है।
अब बोरवेल तक जाने वाली टनल में पाइप डालने के लिए दूसरी मशीन मंगवाई गई है। बताया जा रहा है कि पहले 50 टन क्षमता वाली मशीन मौके पर काम कर रही थी, अब 100 टन क्षमता वाली मशीन मंगवाई गई है, इसका सेटअप किया जा रहा है।
रेस्क्यू में देरी पर परिजनों ने उठाए सवाल
तीन साल की चेतना को बोरवेल में गिरे 5 दिन हो चुके हैं। मगर प्रशासन तमाम कोशिशों के बावजूद बच्ची को बाहर नहीं निकाल पा रहा है। पहले देसी जुगाड़ से बच्ची को निकालने की कोशिश हुई। इसके बाद समानांतर खुदाई कर बच्ची को निकालने का फैसला लिया गया। अब समानांतर खुदाई हो चुकी है, रैट माइनर भी पहुंच गए हैं। मगर परिजनों का कहना है कि बच्ची कब तक बाहर आ पाएगी? इस सवाल का जवाब अभी भी किसी के पास नहीं है।
100 घंटे से भूखी-प्यासी चेतना
परिजनों का कहना है कि बच्ची 120 फीट गहराई पर फंसी हुई बताई जा रही है। 100 घंटे से भूखी प्यासी तीन साल की मासूम बच्ची का क्या हाल होगा? इधर प्रशासन की ओर से कहा जा रहा है कि रेस्क्यू ऑपरेशन लगातार चल रहा है। हर संभव संसाधन जुटाए गए हैं। समानांतर खुदाई के बाद अब बच्ची तक पहुंचने की कोशिश की जा रही है। इस बीच बार बार बारिश भी हो रही है।
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