राजस्थानराजनीतिनेशनलअपराधकाम री बातम्हारी जिंदगीधरम-करममनोरंजनखेल-कूदवीडियोधंधे की बात

कोटा में NEET की छात्रा का सुसाइड, 2025 में पांचवां केस, क्या है इसके पीछे की असली वजह?

कोटा में एक और दर्दनाक हादसा घटित हुआ है, जो हर किसी के दिल को चीरकर रख देता है।
01:22 PM Jan 22, 2025 IST | Rajesh Singhal

Kota Student Suicide Case: कोटा में एक और दर्दनाक हादसा घटित हुआ है, जो हर किसी के दिल को चीरकर रख देता है। बुधवार दोपहर को गुजरात की रहने वाली एक छात्रा ने NEET की कठिन परीक्षा की तैयारी करते हुए अपनी जान ले ली। दो साल से कोटा में रहकर अपने सपनों को पूरा करने की उम्मीदों के साथ संघर्ष कर रही थी, लेकिन आज उसकी जिंदगी ने एक अविस्मरणीय मोड़ लिया।

उसका शव हॉस्टल के कमरे में पंखे से लटका पाया गया, जो एक गंभीर सवाल छोड़ जाता है—क्या हमारे बच्चों पर शिक्षा का बढ़ता दबाव उन्हें मानसिक और भावनात्मक रूप से इतना कमजोर बना रहा है? (Kota Student Suicide Case) इस घटना ने कोटा शहर और उसके बाहर सभी को हिला कर रख दिया है, और हर किसी के मन में यह सवाल है कि क्या हमें अपने बच्चों की मानसिक स्वास्थ्य की स्थिति पर और अधिक ध्यान देने की जरूरत है?

दबाव... उम्मीदों का असर

राजस्थान के शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने मंगलवार को कहा कि बच्चों पर पढ़ाई का अत्यधिक दबाव और उनकी क्षमता से अधिक उम्मीदें रखने के कारण यह स्थिति बन रही है। उन्होंने अभिभावकों से अपील की कि वे बच्चों की मानसिक स्थिति को समझें और उनके साथ संवेदनशीलता से पेश आएं। यह बयान खास तौर पर इस संकट की गंभीरता को रेखांकित करता है और यह सवाल उठाता है कि क्या हमारे शिक्षा तंत्र में सुधार की आवश्यकता है?

बच्चों की निजी जिंदगी पर ध्यान देने की अपील

शिक्षा मंत्री ने अपने बयान में यह भी कहा कि कुछ मामलों में सुसाइड का कारण प्रेम प्रसंग भी हो सकता है। उन्होंने माता-पिता से आग्रह किया कि वे अपने बच्चों की गतिविधियों और दिनचर्या पर गहरी नजर रखें, ताकि किसी भी मानसिक दबाव या निजी समस्या को समय रहते समझा जा सके। इस बयान ने इस मुद्दे को और जटिल बना दिया है, क्योंकि मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य के बीच की कड़ी अब और भी अहम हो गई है।

2024 में स्थिति में सुधार, 2025 में चिंता बढ़ी

2024 में कोटा में छात्र आत्महत्या के 17 मामले सामने आए थे, जो पिछले कुछ सालों की तुलना में कम थे। लेकिन 2025 की शुरुआत में ही पांच सुसाइड की घटनाएं प्रशासन और सरकार के लिए एक गंभीर चेतावनी बन चुकी हैं। यह आंकड़े दर्शाते हैं कि समस्या केवल पढ़ाई के दबाव तक सीमित नहीं है, बल्कि बच्चों की भावनात्मक और मानसिक स्थिति भी अहम है।

-(कोटा से अर्जुन अरविंद की रिपोर्ट)

यह भी पढ़ें:Rajasthan: जयपुर में वृद्धा को बंधक बना 57 लाख की लूट...नौकर रखते वक्त आप ना करें ये गलती ?

यह भी पढ़ें: Rajasthan: ‘…तो गहलोत-डोटासरा को 3 हजार वोट भी नहीं मिलेंगे’ RLP सुप्रीमो हनुमान बेनीवाल का चैलेंज?

Tags :
Education PressureGujarat Student Found Hanging in KotaKota 5th Student Suicide Casekota student suicide caseNEET Student Suicide Caseneet students suicideStudent Suicide in Kota Rajasthanकोटा NEET स्टूडेंट सुसाइडकोटा एजुकेशन सिटीकोटा में 5वां सुसाइड केसगुजरात की स्टूडेंट कोटा में पंखे से लटकी मिलीराजस्थान में स्टूडेंट सुसाइड
Next Article